यूपी: स्कूलों की गर्मी की छुट्टियां 30 जून तक बढ़ीं, 16 जून से शिक्षकों की ड्यूटी शुरू *KJW* #9
सारांश:
योगी सरकार ने भीषण गर्मी और हीट वेव के चलते यूपी के प्राथमिक स्कूलों की ग्रीष्मकालीन छुट्टियाँ 15 दिन बढ़ाकर 30 जून तक कर दी हैं। बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव सुरेंद्र कुमार ने बताया कि शिक्षक, शिक्षामित्र व अनुदेशकों को 16 जून से स्कूल आकर कार्य निपटाना होगा। बच्चे अब 1 जुलाई से स्कूल आएंगे। शिक्षकों ने परिवार के साथ छुट्टी मनाने की इच्छा जताई थी, लेकिन प्रशासन ने उन्हें यह छूट नहीं दी।
गर्मी ने फिर बढ़ाई छुट्टियां, स्कूल अब जुलाई से खुलेंगे
उत्तर प्रदेश में प्राथमिक स्कूलों के लिए गर्मी की छुट्टियां पहले 20 मई से 15 जून तक थीं। लेकिन प्रदेश में जारी हीट वेव और 45°C से ऊपर पहुंचे पारे को देखते हुए योगी सरकार ने इसमें 15 दिन की बढ़ोतरी कर दी है। अब स्कूल 30 जून तक बंद रहेंगे और नया सत्र 1 जुलाई से शुरू होगा। बेसिक शिक्षा परिषद के आदेश में साफ किया गया है कि यह फैसला बच्चों की सेहत को ध्यान में रखकर लिया गया है।
16 जून से स्कूल पहुंचेंगे शिक्षक, काम निपटाना होगा
बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव सुरेंद्र कुमार ने स्पष्ट किया है कि हालांकि बच्चों की छुट्टियां बढ़ गई हैं, लेकिन सभी शिक्षकों, शिक्षामित्रों और अनुदेशकों को 16 जून से स्कूल आना अनिवार्य होगा। उन्होंने बताया, "शिक्षक स्कूल का बकाया काम निपटाएंगे, जिसमें पेपर चेकिंग, प्रशासनिक कार्य या नए सत्र की तैयारी शामिल है।" ध्यान रहे कि कई शिक्षकों ने परिवार के साथ छुट्टी मनाने की इच्छा जताई थी, लेकिन प्रशासन ने उन्हें यह छूट नहीं दी।
क्यों लिया गया ऐसा निर्णय?
इस फैसले के पीछे प्रदेश के 30 से अधिक जिलों में चल रही हीट वेव है, जहां पारा 47°C तक पहुंच गया है। स्वास्थ्य विभाग की चेतावनी के मुताबिक, दोपहर 12 बजे से शाम 4 बजे तक धूप में निकलना खतरनाक है। ऐसे में बच्चों को स्कूल भेजना जोखिम भरा होता। बेसिक शिक्षा निदेशालय के एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, "हीटवेव के कारण पिछले सप्ताह 7 जिलों में स्कूल खोलने का ट्रायल किया गया, लेकिन बच्चों को स्वास्थ्य समस्याएं हुईं।"
अब क्या होगा?
- शिक्षकों के लिए: 16 जून से रोजाना स्कूल पहुंचना होगा। गैरहाजिरी पर कार्रवाई का प्रावधान है।
- अभिभावकों के लिए: बच्चे 1 जुलाई तक घर पर रहेंगे।
- स्कूल प्रबंधन: छुट्टी के दौरान व्यवस्था जैसे काम पूरे करने के निर्देश।
अयोध्या की अभिभाविका सीमा श्रीवास्तव कहती हैं, "जून में पढ़ाई से ज्यादा जरूरी बच्चों की सुरक्षा है।" वहीं, शिक्षक नवीन कहते हैं, "हम ड्यूटी के लिए तैयार हैं, लेकिन परिवार के साथ कुछ दिन बिता पाते तो अच्छा था।"
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